कितने बारिश और धूप
आए और चले गए,
पर जिसका इंतजार था
वो अब तक नहीं आए...
#SwetaBarnwal
आए और चले गए,
पर जिसका इंतजार था
वो अब तक नहीं आए...
#SwetaBarnwal
ऐ विधाता...! ना जाने तू कैसे खेल खिलाता है... किसी पे अपना सारा प्यार लुटाते हो, और किसी को जीवन भर तरसाते हो, कोई लाखों की किस्मत का माल...